जयपुर. Rajasthan News: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने महिला सशक्तिकरण और कल्याण के प्रति राज्य सरकार की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि महिलाओं की सम्मानजनक स्थिति, एक उन्नत, समृद्ध और मजबूत समाज का आधार है। शनिवार को उदयपुर में आयोजित राज्य स्तरीय महिला सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि नारी की सशक्त स्थिति समाज की प्रगति और विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। मुख्यमंत्री ने कहा, “पिछले एक वर्ष में हमारी सरकार का पूरा ध्यान महिला सुरक्षा, सम्मान और कल्याण पर केंद्रित रहा है। यह समाज के हर वर्ग के लिए विकास के द्वार खोलने का प्रयास है।”
महिलाओं के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाओं की शुरुआत
मुख्यमंत्री ने राज्य सरकार द्वारा पिछले एक वर्ष में महिलाओं के लिए शुरू की गई कई योजनाओं का उल्लेख करते हुए कहा कि इन योजनाओं का उद्देश्य महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना, उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना और उनके सामाजिक उत्थान के लिए आवश्यक कदम उठाना है। उन्होंने कहा, “हमने अपनी संकल्प पत्र में यह वादा किया था कि महिलाओं के खिलाफ अपराधों पर कड़ी कार्यवाही की जाएगी। हम इसे एक मिशन मानकर कार्य कर रहे हैं।” मुख्यमंत्री ने कालिका पेट्रोलिंग यूनिट की स्थापना की बात की, जिसके तहत राज्य में महिलाओं की सुरक्षा को प्राथमिकता दी जा रही है। इसके अलावा आपातकालीन हेल्प ऐप और पैनिक बटन जैसी परियोजनाओं की शुरुआत की गई है, ताकि महिलाएं किसी भी संकट के समय तुरंत पुलिस सहायता प्राप्त कर सकें।

बालिकाओं की शिक्षा और सशक्तिकरण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम
मुख्यमंत्री ने बालिकाओं के लिए शुरू की गई लाडो प्रोत्साहन योजना का उल्लेख करते हुए कहा कि इस योजना के तहत गरीब परिवारों की बालिकाओं को जन्म पर एक लाख रुपये का सेविंग बॉन्ड प्रदान किया जा रहा है, ताकि वे अपनी शिक्षा और भविष्य के लिए सुरक्षित महसूस कर सकें। इसके तहत पहली किश्त के रूप में 2,500 रुपये भी लाभार्थियों को हस्तांतरित किए गए। साथ ही, मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री मातृ वंदन योजना के तहत राज्य की 4.5 लाख महिलाओं को लाभान्वित करने की जानकारी दी और कहा कि इस योजना के तहत महिलाओं को अब 6,500 रुपये की राशि दी जा रही है, जो पहले 5,000 रुपये थी। इसके अतिरिक्त आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का मासिक मानदेय भी 10 प्रतिशत बढ़ाया गया है।
आत्मनिर्भरता की दिशा में प्रमुख योजनाएं
मुख्यमंत्री ने आत्मनिर्भरता की दिशा में उठाए गए कदमों का भी उल्लेख किया। उन्होंने नमों ड्रोन दीदी और लखपति दीदी जैसे कार्यक्रमों के बारे में बताया, जिनके तहत 1 लाख नई लखपति दीदियों का सम्मान किया गया। इस अवसर पर 10,000 स्वयं सहायता समूहों को 15,000 रुपये का रिवॉल्विंग फंड प्रदान किया गया। इसके अलावा महिला निधि बैंक के माध्यम से 100 करोड़ रुपये का ऋण स्वीकृत किया गया, जिससे महिलाओं को छोटे व्यवसायों और उद्यमों के लिए आर्थिक सहायता मिल सके।

मुख्यमंत्री अमृत आहार योजना और नए आंगनबाड़ी केंद्र
मुख्यमंत्री ने मुख्यमंत्री अमृत आहार योजना का भी शुभारंभ किया, जिसके तहत प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में 5 नए आंगनबाड़ी केंद्र खोले जाएंगे। इसके साथ ही, प्रत्येक ब्लॉक में एक आदर्श आंगनबाड़ी केंद्र बनाने की शुरुआत की गई है। इसके अतिरिक्त, मुख्यमंत्री ने 10,000 इलेक्ट्रिक कुकिंग सिस्टम के वितरण की भी शुरुआत की, जिससे महिलाओं को खाना बनाने में सहूलत होगी और पर्यावरण पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।
महिला सशक्तिकरण के लिए आने वाली योजनाएं
मुख्यमंत्री ने कहा, “यह तो बस शुरुआत है। आने वाले समय में हम प्रदेश की महिलाओं को उनके सपने साकार करने के लिए हर संभव अवसर उपलब्ध कराएंगे।” उन्होंने इस बात पर भी बल दिया कि राज्य सरकार का ध्यान महिलाओं की सशक्तिकरण और उनके कल्याण पर निरंतर रहेगा।
अन्य नेताओं और अधिकारियों के विचार
कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री एवं महिला एवं बाल विकास मंत्री दिया कुमारी ने कहा कि महिला सशक्तिकरण के लिए केन्द्र और राज्य सरकार के सहयोग से जो योजनाएं चल रही हैं, वे महिला वर्ग को सशक्त बनाने में मददगार साबित हो रही हैं। राजस्व मंत्री श्री हेमंत मीणा ने भी राज्य के विकास में महिलाओं के योगदान को महत्वपूर्ण बताया और कहा कि राजस्थान के चहुंमुखी विकास में महिला सशक्तिकरण की भूमिका अहम है। महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री डॉ. मंजू बाघमार ने मुख्यमंत्री की नेतृत्व क्षमता की सराहना करते हुए कहा कि उनकी योजनाओं से महिलाएं न केवल सुरक्षित और सम्मानित हो रही हैं, बल्कि वे अब आत्मनिर्भर बनने की दिशा में भी आगे बढ़ रही हैं।

योजनाओं के लाभार्थियों से संवाद
कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने वर्चुअल संवाद के माध्यम से प्रतापगढ़ और श्रीगंगानगर की महिला लाभार्थियों से बातचीत की। रमा देवी ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के तहत मुफ्त राशन मिलने के बारे में बताया, जबकि श्रीमती मोनिका ने उद्यमी प्रोत्साहन योजना से मिलने वाले 25 लाख रुपये के लोन और 7 लाख रुपये की सब्सिडी से अपने स्वरोजगार को बढ़ाने की जानकारी दी।
कार्यक्रम का समापन
मुख्यमंत्री ने अंत में विभिन्न विभागों की प्रदर्शनी का अवलोकन किया और राज्य में चल रही योजनाओं के लाभार्थियों से मिलकर उनके अनुभव सुने। इस अवसर पर जनजाति क्षेत्रीय विकास मंत्री बाबूलाल खराड़ी, विधायक श्रीचंद कृपलानी, शांता देवी, और अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण भी उपस्थित थे।
