जयपुर. राजस्थान में पूर्ववर्ती अशोक गहलोत सरकार की ओर से आचार संहिता लगने से पहले तीन नए जिलों के गठन की घोषणा की गई थी। लेकिन अब भाजपा की भजनलाल सरकार आने के बाद इन तीनों जिलों के गठन की संभावनाए समाप्त हो गई है। इसको लेकर विधानसभा में राजस्व मंत्री हेमंत मीणा ने बुधवार को संकेत दे दिए हैं। उन्होंने कहा कि जिलों के गठन को लेकर बनाई गई हाई पावर कमेटी को 18 दिसंबर को खत्म किया जा चुका है। ऐसे में अब इन तीन जिलों के गठन की संभावना समाप्त हो चुकी है।
गहलोत ने इन तीन जिलों के गठन की घोषणा की थी
गौरतलब है कि पूर्ववर्ती सरकार के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने चुनाव में फायदा लेने के लिए नए जिलों के गठन का पिटारा खोल दिया था। बजट सत्र में 19 नए जिलों के गठन के बाद आचार संहिता से ठीक पहले तीन जिलों के गठन की और घोषणा की। इनमें मालपुरा, सुजानगढ़ और कुचामन सिटी शामिल थी। लेकिन आचार संहिता लगने से इनकी अधिसूचना अटक गई। फिलहाल राजस्व मंत्री हेमंत मीणा ने विधानसभा में इन जिलों के गठन की संभावनाओं पर विराम लगा दिया है।
विधायक हरीश मीणा ने देवली को जिला बनाने की उठाई मांग
विधानसभा सत्र के दौरान देवली उनियारा के कांग्रेसी विधायक हरीश मीणा ने देवली को जिला बनाए जाने की मांग उठाई। इस पर जवाब देते हुए राजस्व मंत्री हेमंत मीणा ने कहा कि फिलहाल सरकार का नए जिले के गठन को लेकर कोई योजना नहीं है। पूर्व में जिलों के गठन के लिए बनाई हाई पावर कमेटी को समाप्त कर दिया है। इस पर विधायक हरीश मीणा ने कहा कि भविष्य में अगर कभी भी नया जिला बनाए जाने की योजना हो तो देवली को भी जिला बनाया जाए।
ये भी पढ़ें: राजस्थान सरकार ने IAS अफसरों के के किए तबादले तीसरी सूची जारी, 12 को सौंपा अतिरिक्त कार्यभार, यहां देखें पूरी लिस्ट
